चुहिया रानी
चुहिया रानी, चुहिया रानी,
लगती हो तुम बड़ी सायानी
जैसे हो इस घर की रानी
तभी तो करती हो मनमानी
कुतुर – कुतुर सब कुछ खा जाती
आहट सुन झट से छुप जाती
जब भी बिल्ली मौसी आती
दूम दबा बिल में घुस जाती
